Mausam Update : उत्तर भारत मे इस साल क्यों पड़ी भीषण गर्मी,जानिए इसके पीछे का कारण
अगर इन्हें रोकने के लिए पूर्व से नमी भरी हवाएं चलती तो वे संघनित होकर बारिश कर सकती थीं, लेकिन बंगाल की खाड़ी से आने वाली चक्रवाती हवा रेमल के कारण ऐसा नहीं हो पाया। जिसके कारण शुष्क पछुआ हवाओं ने उत्तर भारत को भीषण गर्मी से सताया है।
Mausam Update : मानसून आने का इंतजार कर रहे लोगों के लिए अच्छी खबर है। अलनीनो स्थितियाँ लगभग ख़त्म हो चुकी हैं और ला-नीना सक्रिय होने लगा है।Mausam Update
अब जैसे-जैसे ला नीना मजबूत होगा,मानसून की बारिश भी तेज होती जाएगी। जुलाई के पहले सप्ताह से सितंबर के अंत तक मानसून मजबूत रहने की संभावना बन रही है।
मौसम विज्ञानियों का कहना है कि जिन राज्यों में मानसून सही समय पर नहीं पहुंच पाती वहां प्री-मानसून बारिश होती है,जिससे तापमान कंट्रोल में रहता है। ̈लेकिन इस बार प्री-मानसून गतिविधियां भी कम दिखीं है। इसके लिए शुष्क पछुआ हवा जिम्मेदार है।Mausam Update
उत्तर भारत में प्री-मानसून बारिश मई के लास्ट हफ्ते में होती है, लेकिन इस दौरान पश्चिमी हवाएँ चली थीं,जिनमें नमी की मात्रा नहीं थी।
अगर इन्हें रोकने के लिए पूर्व से नमी भरी हवाएं चलती तो वे संघनित होकर बारिश कर सकती थीं, लेकिन बंगाल की खाड़ी से आने वाली चक्रवाती हवा रेमल के कारण ऐसा नहीं हो पाया। जिसके कारण शुष्क पछुआ हवाओं ने उत्तर भारत को भीषण गर्मी से सताया है।
फिलहाल पाकिस्तान और अरब सागर में सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ के कारण उत्तर-पश्चिम क्षेत्र में तापमान में गिरावट आई है। जून के आखिरी हफ्ते में 28 जून को उत्तर भारत में मॉनसून दस्तक देगा।Mausam Update